नालासोपारा।मुंबई। राष्ट्रवादी काग्रेंस पार्टी के वसई विरार के जिलाध्यक्ष अनिल बी पान्डेय से सतगुरु दर्पण ने विशेष बातचीत किया।जिसमें उनसें पूछा गया मुंबई क्यों आये। यूपी मे रोजगार क्यों नहीं किये।जबाब में उन्होंने कहां कि अपनी मातृभूमि सबकों प्यारी लगती हैं। हर कोई चाहता हैं। अपने प्रदेश, गांव,शहर में रहकर सुखमय जीवन व्यतीत किया जाय। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश देवभूमि हैं। लेकिन राजनैतिक अराजकता की वजह से प्रदेश विकास नहीं विनाश की ओर हैं। जात -पात की ओछी राजनीति की वजह से आपस मे लोग एक दूसरे से घृणा करते हैं। आज भी यूपी में गुन्डई,दबंगई चरम पर हैं। ग्रामीण परिवेश मे रहकर जीवन यापन करना बहुत ही कठिन कार्य हैं। इसलिए जो लोग मुंबई आ गये।उन्हें यहां की प्रकृति,मुंबई महाराष्ट्र, की संस्कृति, सभ्यता,संस्कार,आपसी भाईचारा, सद्व्यवहार, सद्वविचार को आत्मा ने स्वीकार कर लिया और लोग यहां बसते गये।आज स्थिति यह हैं कि मुंबई मे काफी संख्या में यूपी के लोग वाशिन्दे हो गयें हैं। जो कभी कभार गांव जाते हैं और जल्द ही वापस आ जाते हैं।उनसें जब यह पूछा गया कि मुंबई मे क्या खासियत हैं जो लोग यहां आते हैं और यहीं के हो जाते हैं।उन्होंने कहां कि मुंबई देश की आर्थिक राजधानी हैं। जल क्षेत्र के बीचोबीच बसी यह महानगरी मनभावन हैं। प्रकृति का समन्वय हैं। जो भी महाराष्ट्र की पावन भूमि पर रोजगार, व्यापार की गरज से आया। उसको कर्म के अनुसार उपलब्धि मिली।उन्होंने कहां कि सन दो हजार मे मुंबई आये।कान्दीबली में व्यापार के रुप में मारकेटिग का काम शुरु किये। इसके बाद कुर्ला मे व्यसाय किये।सन 2005 मे नालासोपारा आ गये और रीयल स्टेट का काम शुरु किये जो अभी भी हो रहा हैं। अनिल बी पान्डेय, उत्तर प्रदेश के जौनपुर जिले के मड़ियाहूं तहसील के भोरापुर पडराव गांव के मूल निवासी हैं। वर्तमान मे राज नगर नालासोपारा में निवास करते हैं।
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